hindi poem on dog | mera tafi
दोस्तों आज हम फिर हाजिर हैं एक और बालकविता लेकर जिसका शीर्षक है “poem on dog | mera tafi ” | हम सबके जीवन में हमारे pet यानि dog,cat,parrot आदि की बहुत अहमियत होती है, वो हमसे ऐसे जुड़े होते हैं जैसे की वो भी घर के एक member हो |
ये pets हमारे बहुत काम भी आते हैं साथ ही हमारा मनोरंजन भी करते रहते हैं| pets और बच्चे इन दोनों के बिना तो घर बिल्कुल सूना ही लगता है |इस कविता के माध्यम से एक बच्चा अपने dog टफी के बारे में कुछ दिलचस्प बातें बता रहा है आइये पढ़ते हैं ये बालकविता “poem on dog | mera tafi” |
poem on dog | mera tafi
टफी मेरे डॉगी का नाम
करता है वो गजब के काम
मुँह से वो बॉल केच करता
पंजों से लाइट बंद कर देता
और रात को मेरे संग
सो जाता है चादर को तान
टफी मेरे डॉगी का नाम
करता है वो गजब के काम
कोई आहट जब दे सुनाई
वो दौड़ कर बाहर जाता
अगर कोई बदमाश सा लगता
शोर मचा कर उसे भगाता
टफी मेरे डॉगी का नाम
करता है वो गजब के काम
घर में मैं अकेला रह जाऊँ
दिल है वो पूरा बहलाता
मेरे संग वो खेला करता
दोस्त की तरह पकड़म-पकड़ाई
टफी मेरे डॉगी का नाम
करता है वो गजब के काम
friends ये pets ही होते हैं जो मरते दम तक अपनी वफादारी और प्यार नहीं भुला पाते वरना तो अच्छे -अच्छे इंसान भी धोखा दे जाते हैं |मित्रों अगर आपको यह पोस्ट अच्छी लगे तो इसे प्लीज शेयर करें | आप comment के माध्यम से अपने सुझाव भी हमें पहुंचा सकते हैं जिससे हम आपको और अच्छा content provide कराएं | आप यह भी पढ़ सकते हैं :-